Rampur News: पटवाई प्रकरण में दरोगा और सिपाही निलंबित

पटवाई थाने में मजदूर द्वारा चाकू से गर्दन काटने की घटना में एसपी ने दरोगा और सिपाही को निलंबित कर दिया। साढू से हुए विवाद में पुलिस की अभिरक्षा में पटवाई थाने पहुंचे मजदूर ने चाकू से गर्दन काट ली थी। इस घटना में एसपी ने दरोगा और सिपाही को निलंबित कर दिया है। पटवाई थाना क्षेत्र के सैविया गांव निवासी ओमप्रकाश का साढू काशीराम रुद्रपुर में मजदूरी करता है। वह जुए का आदी है। होली पर्व से ही कांशीराम अपने साढू ओमप्रकाश के घर पर रह रहा था। कुछ दिन पहले कांशीराम ने ओमप्रकाश से रुद्रपुर स्थित अपने मकान बेचने की बात कही थी। तब ओमप्रकाश ने 15 लाख रुपये में काशीराम से मकान का सौदा कर लिया तथा रुपयों का लेनदेन भी कर लिया था। बीते बुधवार की सुबह काशीराम मजदूरी करने के लिए रुद्रपुर जाने की बात बोलकर गया था। ओमप्रकाश के पुत्र विष्णु ने आरोप लगाया कि उसका मौसा काशीराम बुधवार की रात में लौटकर घर आया और उसके पिता ओमप्रकाश पर चाकू से जानलेवा हमला बोल दिया। हमले में ओमप्रकाश की गर्दन कट गई। हमले के बाद काशीराम मौका पाकर फरार हो गया था। सूचना पर पहुंची पुलिस ने घायल अवस्था मे ओमप्रकाश को अस्पताल भिजवा दिया था। पुलिस ने घटना स्थल का जायजा लिया और जांच में जुट गई थी। लेकिन तहरीर न मिलने के कारण कोई कानूनी कार्रवाई नहीं कर सकी। स्वस्थ होने बाद ओमप्रकाश अपने घर आ गया तथा शनिवार को ओमप्रकाश की तरफ से काशीराम के विरुद्ध जानलेवा हमले की तहरीर पुलिस को दी गयी थी। रविवार को पुलिस ने काशीराम को गिरफ्तार कर लिया तथा पटवाई थाना ले आयी थी। पुलिस ने ओमप्रकाश को भी थाने बुला लिया था तथा दोनों साढूओं से आपसी समझौता करने को कहा था। थाने बैठे दोनों साढू आपसी बातचीत कर रहे थे।बातचीत करते करते दोनो साढूओं में आपसी विवाद बढ़ गया। इस दौरान काशीराम ने अपनी गर्दन पर चाकू मार लिया और खून में लथपथ हो गया था। खून में लथपथ देख थाने में मौजूद पुलिस के पैरों तले जमीन खिसक गई थी। पुलिस आनन फानन में काशीराम को थाने के बाहर ले गयी तथा थाने के बराबर में स्थित मस्जिद के बाहर लेटा दिया था। जिसे देखने को भारी भीड़ जमा हो गयी थी। उसके बाद पुलिस ने नाजुक हालत में काशीराम को अस्पताल भिजवाया था जहां उसका इलाज चल रहा है। घायल काशीराम की हालत में सुधार बताया जा रहा है। घटना को लेकर पुलिस के आला अधिकारी चुप्पी साधे हुए थे । मीडियाकर्मियों ने मोबाइल द्वारा थानाध्यक्ष से संपर्क साधने की कोशिश की लेकिन उन्होंने फोन रिसीव करना उचित नहीं समझा। थानाध्यक्ष का कहना था कि आरोपी काशीराम को हिरासत में लेकर निजी कार से न्यायालय ले जाया जा रहा था। इस दौरान काशीराम ने कार से छलांग लगा दी और उसकी गर्दन किसी नुकीली बस्तु से कट गई।  घटना के बाद पटवाई पुलिस व पुलिस के उच्च अधिकारियों पर बड़े सबाल खड़े हो गए थे। घटना एसपी के कानों तक पहुंची तो एसपी ने घटना की जांच के आदेश दिए थे। जांच में हल्का दरोगा व सिपाही की घोर लापरवाही सामने आई। पुलिस अधीक्षक विद्या सागर मिश्र ने बताया कि थाना पटवाई पर दो पक्षों मे मारपीट की घटना के संबंध मे जांच के दौरान दरोगा कपिल बालियान काशीराम को थाना पटवाई पर लाये थे। सिपाही सुभाष चन्द की निगरानी में बिना आवश्यक निरोधात्मक कार्यवाही व बिना जीडी में दाखिल किये अनावश्यक रूप से कार्यालय में बैठाया गया तथा सिपाही सुभाष चन्द काशीराम को कार्यालय थाना पटवाई पर अकेला बैठा छोडकर बाहर चले गये। इसी दौरान विपक्षी द्वारा अपने गले पर किसी नुकीली वस्तु से प्रहार कर स्वयं को चोटिल कर लिया था। जिसे इलाज हेतु अस्पताल भेजा गया। जिसमें प्रथम दृष्टया उक्त पुलिसकर्मियों की घोर लापरवाही के तथ्य संज्ञान में आये हैं । जिसके दृष्टिगत दरोगा कपिल बालियान एवं सिपाही सुभाष चन्द को तत्काल प्रभाव से निलम्बित कर दिया गया है तथा विभागीय कार्यवाही आसन्न की गई है।

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